बाह्य चिकित्सा
- योनि रन्ध्र निम्बकाष्ठ धूपन
- सेँधव खंड + तैल योनि मध्ये धारण
- धत्तूर मूल कटि बद्ध्वा
आभ्यान्तर चिकित्सा
- पिप्पली, विडङ्ग, टंकण समभाग दुग्ध से
- जपाकुसुम पुष्प + कांजी
- तंडुलियकमूल कल्क + तंडुलोदक
- तालिसपत्र + गेरिक – कर्ष प्रमाण
गर्भ पातक औषध
बाह्य चिकित्सा
- ऐरंड कांठड 8 अंगुल प्रवेश
आभ्यान्तर चिकित्सा
- गृज्जन बीज 3 टंक + दाडिममूल 3 टंक + तुवरी 2 टंक
- चित्रक मूल + निर्गुंडी स्वरस – कर्ष प्रमाण
- देवलाय चूर्ण – कर्ष प्रमाण
- घोटी पुरीष + कांजी + विष + सेँधव + सर्षप तैल
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